चंडीगढ़। उच्च न्यायालय ने हरियाणा के सभी जिलों तथा केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ को चुनिंदा स्थान को कार फ्री जोन बनाने का आदेश दिया है। साथ ही कहा है कि आवागमन के साधन के तौर पर इको फ्रेंडली रिक्शा चलाए जाएं। पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट फाजिल्का में यातायात नियंत्रण, प्रदूषण की रोकथाम व ऐतिहासिक धरोहरों को सहेजने के लिए घंटाघर चौक को कार फ्री जोन तथा ईको फ्रेंडली रिक्शों का संचालन बेहद पसंद आया।
इसी से प्रभावित होकर अदालत ने 29 अक्टूबर 2010 में स्वयं संज्ञान लेते हुए हरियाणा, पंजाब और केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ में भी ईको कैब चलाने व ऐतिहासिक स्थलों को वाहनों के प्रदूषण व ट्रैफिक जाम से बचाने के लिए कार फ्री जोन बनाने के निर्देश दिए थे। 23 सितंबर, 2011 को मामले की सुनवाई के दौरान पंजाब सरकार ने हलफनामे दाखिल कर अदालत को बताया कि प्रदेश के 12 जिलों में 500 से अधिक ईको कैब चला दी गई हैं।
कार फ्री जोन बनाने के भी प्रयास जारी हैं। चंडीगढ़ के सीनियर स्टैंडिंग काउंसिल ने भी इस संबंध में किए जा रहे प्रयासों की जानकारी दी। हरियाणा द्वारा इस संबंध में विशेष प्रयास न होने के चलते हाईकोर्ट ने नाराजगी जाहिर की। मामले की अगली सुनवाई 21 अक्टूबर को होगी।